अबोध की कहानी, hindi funny motivational story

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Hindi funny motivational story

हम यहां पर एक हास्य कहानी (hindi funny motivational story) दे रहे है, अगर जीवन में कुछ पल याद करके हसी आ जाए तो कितना अच्छा होगा, यह कहानी आपको जरूर पसंद आएगी.

अबोध की हास्य कहानी : Hindi funny motivational story

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नोकरी की तलाश :- 

बहुत समय की बात है एक चांदपुर नाम के गांव में अबोध नाम का एक लड़का रहता था. वो बहुत ही गरीब था न खाने को खाना और न ही पहनने को कपडा. उसकी परिवार की हालात बहुत ही बुरी थी. एक दिन अबोध ने नोकरी करने का सोचा. और वो नोकरी की तलाश में भटकते भटकते एक दिन शहर जा पहुचा. ये अबोध का सौभाग्य ही था की उसे एक नोकरी मिल गयी. एक दिन अबोध के मालिक ने अबोध को एक मनी आर्डर फार्म और उसके साथ कुछ पैसे भी दिए और अबोध को कहा की जाओ और इन पेसो को आर्डर करके आओ.

 

अबोध का वेतन :-

अपने मालिक की बात सुन अबोध के मन में ये सवाल आया की भला जगदीश से पैसे कैसे भेजे जा सकते है. अबोध पोस्ट ऑफिस जा पहुचा और जगदीश बाबु से कहने लगा की क्या पैसे चिट्टी से भेजे जा सकते है तो जगदीश बाबु ने कहा क्यों नहीं भेजे सकते है. फिर एक दिन अबोध को उसका वेतन मिला तो उसे याद आया की उसकी बेगम ने चलते हुए कहाँ था की चेमेली का आयल भी भेज देना.

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तेल की शीशी :- 

अबोध ने उसी समय बादाम रोगन के तेल की शीशी ली और डाकघर जाकर जगदीश बाबु से कहा की इसे भी मेरे घर चिट्टी से भेज दीजिये. जल्दी पहुच जायेगा तभी जगदीश बाबु समझ गया की लगता है. ये एक बेवकूफ आदमी है. जगदीश बाबु ने अबोध से तेल की शीशी रख ली और अबोध वह से चेले गए.

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अबोध के घर :-

कुछ दिन बाद अबोध के घर से एक चिट्टी आया उसमे लिखा था की वो बादाम रोगन का तेल अभी तक नहीं आया है. अबोध जगदीश बाबु के पास गया और उसने पूछा जल्दी के कारण ही तो मेने शीशी चिट्टी से भेजी थी और वह अब तक मेरे यह नहीं पहुची है. अबोध ने झल्ला कर जगदीश बाबु से पूछा. तभी जगदीश बाबु ने कहाँ की जब तुम्हारी शीशी चिट्टी से जा रही थी

 

तब किसी ने उधर से डंडा चिट्टी से बेझ दिया था तो तभी तुम्हारी शीशी उस डंडे से टकराकर टूट गयी. जगदीश बाबु ने कहाँ अब तुम ही बताओ में क्या कर सकता हु. बाबु ने उत्तर दिया है भाई इसमें तुम्हारा क्या दोष है. but मुझे वो डंडा भेजने वाला मिल जाये तो में उसका सर उसी डंडे से ही फोड़ दूंगा. ये कहकर अबोध जगदीश बाबु के पास से चला गया. तब से आज तक अबोध उस डंडे भेजने वाले आदमी को ढूंढ रहा है.

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कुछ भी याद नहीं :- 

अबोध जी आज आप कुछ दुखी लग रहे हो, जबकि आप तो हँसते हुए अच्छे लगते हो, यह सुनकर अबोध उस आदमी को देखता है, अबोध कहता है, तुम कौन हो, में तुम्हे नहीं जानता हु, यह सुनकर वह आदमी कहता है, आप भी कमाल करते है, हम दोनों बहुत समय पहले मिले थे, आपको याद नहीं है, जब हम मेले में मिले थे, अबोध को आज कुछ भी याद नहीं आ रहा था, Because वह परेशान लग रहा था, वह सोच भी नहीं पा रहा था, अबोध कहता है, यह हो सकता है, हम दोनों मिले हो,

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पुरानी यादे :- 

But अब मुझे परेशान करने की जरूरत नहीं है, Because अगर में सोचने लग गया, तो मुझे बहुत देर भी हो सकती है, वह आदमी भी कुछ कम नहीं था, वह कहता है, आज जितनी भी देर हो जाये, उसे होने दो, आज तुम याद कर लो बहुत अच्छा होगा, फिर से पुरानी यादे बन जायेगी, यह सुनकर अबोध को गुस्सा आने लगता है, वह कहता है, मेरे पास समय नहीं है, वह आदमी कहता है, समय तो है, अब देखो तुम यहां पर खाली बैठो हो, में भी खली बैठा हु, हम दोनों खाली बैठे है, हम कुछ सोचना चाहिए,

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अबोध सोचता है :-

अबोध सोचता है, यह आदमी कहा ऐसे आ गया है, यह तो मेरा पीछा ही नहीं छोड़ रहा है, अबोध कहता है, तुम्हारी परेशानी क्या है, पहले तुम मुझे बताओ, फिर सोचते है, उस परेशानी को कैसे दूर किया जाये, वह आदमी कहता है, मुझे बस यह जानना है, हम दोनों कैसे मिले थे, पहले तुमने बता शुरू की थी, या मेने, अबोध ने जब यह सूना तो वह सोचता है, यह बड़ी समस्या है, जल्दी दूर होने वाली नहीं है, अबोध सोचता है, यह आदमी कौन है, कहा से आया है, कब मिला था. कुछ भी यदा नहीं आता है,

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सोचो सोचो कुछ याद :-

फिर से वह आदमी कहता है, सोचो सोचो कुछ याद आया है, अबोध को बहुत गुस्सा आ गया था, वह कहता है, मुझे याद तो नहीं आ रहा है, But अब सोचना पड़ेगा, वह आदमी कहता है, यही तो में कह रहा हु, सोचो, अबोध कहता है, सोच लिया, आज मेरा मन किसी की पिटाई करने का कर रहा है, सुबह से कोई नहीं मिला था, यही सोच रहा था,

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कहानी का मोरल :-

अब तुम सोच लो, क्या सोचना है, यह सुनकर वह आदमी कहता है, मुझे याद आ गया है, पहले मेने बता शुरू की थी, उसके बाद वह आदमी चला जाता है,आज तो अबोध के सर में भी दर्द हो गया था, but वह आदमी समझ गया था, किसी को अधिक परेशान नहीं करना चाहिए, Because इससे खुद को भी परेशानी हो सकती है, अगर आपको यह दोनों hindi funny motivational story पसंद आयी है, शेयर करे

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2 thoughts on “अबोध की कहानी, hindi funny motivational story”

  1. Vijay Kumar says:

    best and beautifull website for daily motivation and self help please add post more and good for motivation

    1. thanks vijay kumar ji

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