Jeevan ka aanand free hindi kahani

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Jeevan ka aanand free hindi kahani

हमे वही काम अपने जीवन में करने चाहिए जिनसे हमे खुशिया मिलती है अगर आप वह काम करते है जो आपको पसंद नहीं है तो आप जीवन में कभी खुशिया प्राप्त नहीं कर पाएंगे, यह जीवन का आनंद फ्री हिंदी कहानी, (Jeevan ka aanand free hindi kahani) आपको पसंद आएगी,

जीवन का आनंद फ्री हिंदी कहानी : Jeevan ka aanand free hindi kahani 

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Jeevan ka aanand free hindi kahani

बहुत से मजदूर काम पर लगे हुए थे सभी मजदूर धीरे-धीरे अपना काम कर रहे थे वह सभी मजदूर नदी के किनारे पर बैठे हुए हैं अपने काम में लगे हुए थे तभी साधु महाराज जी सामने से आ रहे थे उन्होंने देखा कि यहां पर बहुत सारे मजदूर क्या कर रहे हैं क्योंकि उन्होंने पहले वहां पर कोई भी मजदूर नहीं देखा था साधु महाराज जी ने यह मन में विचार बनाया है कि मुझे उनसे पूछना चाहिए कि यहां पर क्या चल रहा है

 

तभी वह एक मजदूर के पास गया और पूछने लगे कि यहां पर किस तरह का काम हो रहा है और आप लोग क्या काम कर रहे हैं पहला मजदूर बोला कि तुम्हें दिखाई नहीं दे रहा है कि हम यहां पर काम कर रहे हैं महाराज जी बोले कि हां वह तो दिखाई दे रहा है कि तुम यहां पर क्या कर रहे हो लेकिन मुझे यह नहीं पता कि यहां पर क्या बनने वाला है

 

मजदूर साधु महाराज जी से बोला कि आप मुझे परेशान मत करिए और आगे बढ़िए साधु महाराज जी ने सोचा कि यह आदमी तो मुझे नहीं बता पा रहा है हो सकता है कि अगला आदमी मुझे बता पाए इसलिए साधु महाराज जी ने दूसरे मजदूर से पूछा जब साधु महाराज जी ने दूसरे मजदूर से पूछा कि यहां पर क्या बन रहा है तो वह है झल्लाकर बोलने लगा कि यहां पर पुल बन रहा है और अब मुझे भी परेशान मत करिए महाराज जी अपने काम से काम रखिए और आगे बढ़िए

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साधु महाराज जी आगे बढ़ गए और तीसरे मजदूर से पूछने लगे कि क्या तुम्हें पता है यहां पर क्या बन रहा है तीसरा आदमी बोला यहां पर पुल बन रहा है जो सभी के काम आएगा पुल बनाने में मुझे बहुत आनंद आ रहा है क्योंकि मुझे पुल बनते हुए देखना बहुत अच्छा लगता है पुल का सपना भी मुझे हर रोज रात को आता है क्योंकि हम यहीं पर रहते हैं और हमारे गांव में पुल बन रहा है यह बहुत ही अच्छी बात है जब फूल बनकर तैयार हो जाएगा तो किसी को भी नदी पार करने के लिए नदी में से होकर नहीं जाना पड़ेगा आराम से हम दूसरी और पहुंच जाएंगे यह सभी के सपनों को पूरा कर रहा है यही सोचकर मैं हर रोज काम करता हूं और मुझे इस काम में आनंद आ रहा है साधु महाराज जी ने कहा कि तुम सही कह रहे हो जिस काम में आनंद आये वाकई में वह काम बहुत अच्छा होता है हमारे सोचने की नजरिया अलग अलग हैं इसीलिए किसी को वह काम बहुत ही बोर करता है किसी को वही काम आनंद देता है.

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