Good hindi story
जिम्मेदारी की सही समझ नयी कहानी, Good hindi story, एक समय ऐसा भी था जब उसके पिताजी बहुत काम करते थे लेकिन अचानक आई बीमारी के कारण वह कुछ भी नहीं कर पा रहे थे.
जिम्मेदारी की सही समझ नयी कहानी : Good hindi story
वह अपने पिताजी को देखा करता था सोचा करता था कि मेरे पिताजी की तबीयत अचानक खराब हो गई है अब उस लड़के को लग रहा था कि सभी जिम्मेदारियां उसी पर आने वाले हैं क्योंकि पिताजी की तबीयत अचानक खराब हो गई है और माता जी को भी बहुत परेशानी हो रही है वह भी कुछ भी नहीं कर पा रही हैं और लड़का इस बात को सोचकर परेशान रहने लगा था जिस जगह पर पिताजी काम करते थे वे
उनकी तबीयत खराब हो गई :-
उसी जगह पर काम करने के लिए पहुंच गया था क्योंकि जब तक पिताजी की तबीयत ठीक नहीं होती थी तब तक वह काम को कर सकता था उसके पिताजी एक सेठ के यहां पर काम करते थे सेठ बहुत ही अच्छा आदमी था वह उसके पिताजी को बहुत ही अच्छी पैसे देता था लेकिन उनकी तबीयत खराब हो गई थी इसी वजह से लड़का वहां पर काम करने आ गया था जब सेठ ने देखा कि एक लड़का काम करने आया वह लड़के को पहचानता था कि यह उसका लड़का है
लेकिन आज वह क्यों नहीं आ रहा है तभी लड़के ने कहा कि पिताजी की तबीयत खराब हो गई है इसलिए मैं काम पर आया हूं मैं नहीं चाहता कि आप का काम मेरे पिताजी की वजह से रुक जाए यह बात सुनकर सेठ बहुत खुश हुआ और कहने लगा कि तुम तो बहुत ही मेहनती लग रहे हो क्योंकि तुम अपने पिताजी के जगह पर काम करने आ गए हो यह बहुत अच्छी बात है उसके बाद लड़के ने पूछा कि पिताजी जो जो काम करते थे
मेरे खेत में काम करते हैं :-
आप मुझे बता दीजिए वह सब काम में कर लूंगा सेठ ने कहा कि वह मेरे खेत में काम करते हैं इसलिए तुम्हें भी मेरे खेत में काम करना होगा क्योंकि मेरा सारा काम वही संभालते थे सेठ लड़के को खेत पर ले गया और सारा काम समझा दिया उसके बाद सेठ अपने घर वापस आ गया और वह लड़का उनके खेत में काम करता रहा लड़का बहुत ही मेहनती था वह सेठ का सारा काम बहुत अच्छे से कर रहा था
जब सेठ शाम को खेत पर आया तो उसने देखा कि लड़के ने बहुत सा काम पूरा कर लिया था लड़के की मेहनत देखकर सेठ ने कहा कि यह भी अपने पिताजी की तरह ही बहुत मेहनती है वह भी बहुत मेहनत करते हैं और मुझे मेहनत करने वाले बहुत पसंद है इसलिए सेठ ने कहा कि तुम जीवन में बहुत अच्छी तरक्की कर पाओगे
मेहनत मैं भी कर सकता हूं :-
क्योंकि तुम मेहनत करते हो जो लोग मेहनत करते हैं वे जीवन में जरूर सफल होते हैं इस बात का पता सेठ को था लड़का कहने लगा मैं इस बात को नहीं जानता मैं तो यही जानता हूं कि जितनी मेहनत पिताजी कर सकते हैं उतनी मेहनत मैं भी कर सकता हूं इसलिए मैं उनकी जगह पर काम करने आया हूं उसके बाद सेठ ने कहा कि अब शाम हो गई है अब तुम्हें घर चले जाना चाहिए
उसके बाद लड़का अपने घर चला गया और सेठ ने उसे कुछ धन दिया जिसकी वजह से उसे कोई सी भी परेशानी का सामना ना करना पड़े धन लेकर घर चला गया और अपने पिताजी को उसने धन दिया पिताजी ने कहा कि सेठ ने आज की मजदूरी तुम्हें दे दी है इसे तुम्हें संभाल कर रखना होगा
परेशान होने की जरूरत नहीं :-
क्योंकि यह तुम्हारे काम की मेहनत का नतीजा है लड़के ने कहा कि मुझे इस बात की कोई चिंता नहीं है जब तक आप ठीक नहीं हो जाते मैं हर रोज काम पर जाऊंगा और आपको परेशान होने की जरूरत नहीं है मैं आपकी सभी परेशानियों को धीरे-धीरे दूर कर दूंगा कुछ समय बाद ही लड़के ने पिताजी का सारा काम संभाल लिया था वह छोटी उम्र में ही काम करना सीख गया था
क्योंकि उसके पिताजी अचानक बीमार पड़ गए थे जिसकी वजह से उसे काम सीखना पड़ा था वह हर रोज सेठ के खेत पर जाता और काम करना शुरू कर देता सेठ भी उसके काम से खुश हो जाते हो और उसे हर रोज थोड़ा बहुत ज्यादा धन दे दिया करते थे जिससे कि उसके पिताजी जल्दी ठीक हो जाए और लड़के को परेशानी का सामना ना करना पड़े
तुमने मेरी सेवा की :-
कुछ समय बाद ही लड़के के पिताजी ठीक हो गए थे अब वह काम पर जा सकते थे लेकिन लड़के ने कहा कि अब आप आराम कीजिए मैंने काम तो सीख ही लिया है आपको ज्यादा आराम करना चाहिए अगर आप आराम नहीं करेंगे तो फिर से बीमार पड़ जाएंगे पिताजी ने कहा कि जब तक मैं बीमार था तब तक तुमने मेरी सेवा की और मैं नहीं चाहता कि तुम मुसीबत का सामना करो
इसलिए मैं काम पर चला जाता हूं तुम आराम करोइस तरह की बातें दोनों कर रहे थे तभी उनकी बातें सुनकर सेठ भी आ गया था सेठ ने कहा कि आप दोनों बहुत अच्छी बातें कर रहे हैं आपका लड़का तो बहुत मेहनती है मैंने काम करते हुए देखा इस ने बहुत अच्छा काम किया था जिसकी वजह से मुझे बहुत खुशी हुई
लड़का बहुत मेहनती है :-
मुझे ऐसा लगता है कि जीवन में यह बहुत कुछ कर सकता है अगर इसने मेहनत करनी बंद नहीं की तो लड़के का पिता जी ने कहा कि मैं तो यही चाहता हूं कि यह आराम से बैठे और आराम करें लेकिन यह जिद कर रहा है कि काम पर जाएगा और मुझे कह रहा है कि आपको आराम करना चाहिए सेठ ने कहा कि तुम्हारा लड़का बहुत मेहनती है तुम्हें समझना चाहिए कि अगर यह मेहनत करना चाहता है तो इसे मेहनत करने देना चाहिए जिससे जीवन आगे अच्छा चलता रहे
मैं तो यही चाहूंगा कि यह लड़का ही काम करें जो कि अपना जीवन बनाने में सफल हो सकता है सेठ की बात सुनकर पिताजी ने भी सोचा कि सेठ सही कह रहे हैं इसलिए उसने अपने लड़के को ही काम पर भेज दिया इस तरह वह समझते थे कि लड़का अगर मेहनत करेगा तो बहुत कुछ कर सकता था उस दिन के बाद सेठ ने ल लड़के को काम दे दिया था और उसके पिताजी को दूसरा काम दे दिया था
मुसीबत को दूर किया जा सकता :-
जिसकी वजह से वह दोनों काम कर रहे थे जीवन में किसी भी मुसीबत को दूर किया जा सकता है लेकिन हमें उसका मुकाबला साथ होकर करना होता है, जिम्मेदारी की सही समझ नयी कहानी, Good hindi story, अगर आपको यह कहानी पसंद आयी है तो आप इसे शेयर भी कर सकते है
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