मूर्खो से बचे एक कहानी, Fools man hindi story

Author:

Fools man hindi story

मूर्खो से बचे एक कहानी

hindi story.jpg
story in hindi

हम आपको इस कहानी मैं ये बतायेगे की हमे कभी भी मूर्खो का साथ नहीं देना चाहिए. सोहनगढ़ के राजा भीमसेन राव जहां कहीं भी जाते, अपने साथ हमेशा अपने सलाहकार को जरूर ले जाते थे. इस बात से बाकि सभी दरबारियों को बड़ी चिढ़ होती थी. एक दिन तीन चार दरबारियों ने मिलकर एकांत में महाराज से प्रार्थना की, कभी अपने साथ किसी अन्य व्यक्ति को भी बाहर चलने का अवसर दें.

राजा को यह बात उचित लगी. उन्होंने उन दरबारियों को विश्वास दिलाया कि वे भविष्य में अन्य दरबारियों को भी अपने साथ घूमने फिरने का अवसर अवश्य देंगे. एक बार जब राजा भीमसेन राव वेष बदलकर कुछ गांवों के भ्रमण को जाने लगे तो अपने साथ उन्होंने इस बार सलाहकार को नहीं लिया बल्कि उसकी जगह दो अन्य दरबारियों को साथ ले लिया. घूमते घूमते वे एक गांव के खेतों में पहुंच गए. खेत से हटकर एक झोपड़ी थी, जहां कुछ किसान बैठे गपशप कर रहे थे. राजा और अन्य लोग उन किसानों के पास पहुंचे और उनसे पानी मांगकर पिया. फिर राजा ने किसानों से पूछा, कहो भाई तुम्हारे गांव में कोई व्यक्ति कष्ट में तो नहीं है.

अपने राजा से कोई असंतुष्ट तो नहीं है. इन प्रश्नों को सुनकर गांव वालों को लगा कि वे लोग अवश्य ही राज्य के कोई अधिकारीगण हैं. वे बोले, हमारे गांव में खूब शांति है, चैन है. सब लोग सुखी हैं. दिन भर कडी़ मेहनत करके अपना काम काज करते हैं और रात को सुख की नींद सोते हैं. किसी को कोई दुख नहीं है. राजा भीमसेन राव अपनी प्रजा को अपनी संतान की तरह प्यार करते हैं इसलिए राजा से असंतुष्ट होने का सवाल ही नहीं पैदा होता. इस गांव के लोग राजा को कैसा समझते हैं. राजा ने एक और प्रश्न किया. राजा के इस सवाल पर एक बूढ़ा किसान उठा और ईख के खेत में से एक मोटा सा गन्ना तोड़ लाया. उस गन्ने को राजा को दिखाता हुआ वह बूढ़ा किसान बोला, हमारे राजा भीमसेन राव बिलकुल इस गन्ने जैसे हैं. अपनी तुलना एक गन्ने से होती देख राजा भीमसेन राव सकपका गए. उनकी समझ में यह बात बिलकुल भी न आई कि इस बूढ़े किसान की बात का अर्थ क्या है. उनकी यह भी समझ में न आया कि इस गांव के रहने वाले अपने राजा के प्रति क्या विचार रखते हैं. राजा भीमसेन राव के साथ जो अन्य साथी थे, राजा ने उन साथियों से पूछा, इस बूढ़े किसान के कहने का क्या अर्थ है.

Read More-साधू और गिलहरी की कहानी

Read More-गुलाब के फूल की कहानी

साथी राजा का यह सवाल सुनकर एक दूसरे का मुंह देखने लगे. फिर एक साथी ने हिम्मत की और बोला, महाराज, इस बूढ़े किसान के कहने का साफ मतलब यही है कि हमारे राजा इस मोटे गन्ने की तरह कमजोर हैं. उसे जब भी कोई चाहे, एक झटके में उखाड़ सकता है, जैसे कि मैंने यह गन्ना उखाड़ लिया है. राजा ने अपने साथी की इस बात पर विचार किया तो राजा को यह बात सही मालूम हुई. वे गुस्से से भर गए और इस बूढ़े किसान से बोले, तुम शायद मुझे नहीं जानते कि मैं कौन हूं. राजा की क्रोध से भरी वाणी सुनकर वह बूढ़ा किसान डर के मारे थर थर कांपने लगा. तभी झोपड़ी में से एक अन्य बूढ़ा उठ खड़ा हुआ और बड़े नम्र स्वर में बोला महाराज, हम आपको अच्छी तरह जान गए हैं, पहचान गए हैं, लेकिन हमें दुख इस बात का है कि आपके साथी ही आपके असली रूप को नहीं जानते. मेरे साथी किसान के कहने का मतलब यह है कि हमारे महाराज अपनी प्रजा के लिए तो गन्ने के समान कोमल और रसीले हैं किंतु दुष्टों और अपने दुश्मनों के लिए महानतम कठोर भी. उस बूढ़े ने एक कुत्ते पर गन्ने का प्रहार करते हुए अपनी बात पूरी की. इतना कहने के साथ ही उस बूढ़े ने अपना लबादा उतार फेंका और अपनी नकली दाढ़ी मूंछें उतारने लगा. उसे देखते ही राजा चौंक पड़े.

Read More-राजा और मंत्री की कहानी 

Read More-एक छोटी सी मदद की कहानी

सलाहकार, तुमने यहां भी हमारा पीछा नहीं छोड़ा. तुम लोगों का पीछा कैसे छोड़ता. अगर मैं पीछा न करता तो तुम इन सरल हृदय किसानों को मरवा देते. महाराज के दिल में क्रोध का ज्वार पैदा करते, सो अलग. तुम ठीक ही कह रहे हो सलाहकार. मूर्खों का साथ हमेशा दुखदायी होता है. भविष्य में मैं कभी तुम्हारे अलावा किसी और को साथ नहीं रखा करूंगा. उन सबकी आपस की बातचीत से गांव वालों को पता चल ही गया था कि उनकी झोपड़ी पर स्वयं महाराज पधारे हैं और भेष बदलकर पहले से उनके बीच बैठा हुआ आदमी ही सलाहकार है तो वे उनके स्वागत के लिए दौड़ पड़े. कोई चारपाई उठवाकर लाया तो कोई गन्ने का ताजा रस निकालकर ले आया. गांव वालों ने बड़े ही मन से अपने मेहमानों का स्वागत किया. उनकी आवभगत की. राजा भीमसेन राव उन ग्राम वासियों का प्यार देखकर आत्मविभोर हो गए. सलाहकार की चोट से आहत हुए दरबारी मुंह लटकाए हुए जमीन कुरेदते रहे और सलाहकार मंद मंद मुस्करा रहे थे. इसलिए आगे से कभी भी दरबारियों ने सलाहकार के बारे मैं राजा के कान कभी भी नहीं भरे.

Read More-व्यापारी के अहंकार की कहानी

Read More-सच्चे मन की प्रार्थना की कहानी

Read More-इंसान और क्रोध की कहानी

Read More-एक नाटक से सीख

Read More-जादुई बक्सा हिंदी कथा

Read More-समय का महत्व

Read More-एक किसान की कहानी

Read More-पशु की भाषा हिंदी कहानी

Read More-जीवन की सीख एक कहानी

Read More-उस पल की कहानी

Read More-एक महाराजा की कहानी

Read More-वो सोता और खाता था हिंदी कहानी

Read More-मंगू और दूसरी पत्नी की कहानी

Read More-सोच की कहानी

Read More-एक शादी की कहानी

Read More-छोटा सा गांव हिंदी कहानी

Read More-एक बोतल दूध की कहानी

Read More-सुबह की हिंदी कहानी

Read More-जादुई लड़के की हिंदी कहानी

Read More-दोस्त की सच्ची कहानी

Read More-आईने की हिंदी कहानी

Read More-जादुई कटोरा की कहानी

Read More-एक चोर की हिंदी कहानी

Read More-जीवन की सच्ची कहानी

Read More-छज्जू की प्रतियोगिता

Read More-जब उस पार्क में गए

Read More-असली दोस्ती क्या है

Read More-एक अच्छी छोटी कहानी

Read More-गुफा का सच

Read More-बाबा का शाप हिंदी कहानी

Read More-यादगार सफर

Read More-सब की खातिर एक कहानी

Read More-जादू का किला    

Read More-मेरे जीवन की कहानी

Read More-आखिर क्यों एक कहानी

Read More-मेरा बेटा हिंदी कहानी

Read More-दूल्हा बिकता है एक कहानी

Read More-जादूगर की हिंदी कहानी

Read More-छोटी सी मुलाकात कहानी

Read More-हीरे का व्यापारी

Read More-पंडित के सपने की कहानी

Read More-बिना सोचे विचारे

Read More-जादू की अंगूठी

Read More-गमले वाली बूढ़ी औरत

Read More-छोटी सी बात हिंदी कहानी

Read More-समय जरूर बदलेगा

Read More-सोच का फल कहानी

Read More-निराली पोशाक

Read More-पेड़ और झाड़ी

Read More-राजा और चोर की कहानी

Read More-पत्नी का कहना

Read More-एक किसान

Read More-रेल का डिब्बा

Read More-छोटी सी मदद

Read More-दिल को छूने वाली कहानी

Read More-गुस्सा क्यों

Read More-राजा की सोच कहानी

Read More-हिंदी कहानी एक सच

Read More-दोस्त की सच्ची कहानी

Read More-हिंदी कहानी विवाह

Read more-गांव में बदलाव

Read More-चश्में की हिंदी कहानी

Read More-परीक्षा का परिणाम

Read More-सफल किसान एक कहानी

Read More-एक दूरबीन का राज

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

This site uses Akismet to reduce spam. Learn how your comment data is processed.